हार के गांवों  के घरों में देशी-विदेशी पर्यटकों के ठहर कर ग्रामीण भोजन और संस्कृति का आनंद उठा सकेंगे.  सरकार ने इसको लेकर  होमस्टे के प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी है. देश के राजस्थान व केरल सहित अन्य राज्यों जैसी ग्रामीण क्षेत्रों में पर्यटन करनेवाले पर्यटकों को इस तरह के जीवन के साथ जुड़ने का मौका मिलेगा.

मकान मालिक व प्रमोटरों को कराना होगा रजिस्ट्रेशन

कैबिनेट विभाग के अपर मुख्य सचिव डाॅ एस सिद्धार्थ ने बताया कि मुख्यमंत्री होमस्टे-ब्रेड एंड ब्रेकफास्ट प्रोत्साहन योजना के तहत ग्रामीण इलाकों में एक से छह कमरों और दो से 12 बेड तक की अनुमति दी जायेगी. इसको लेकर होमस्टे के लिए मकान मालिक या प्रमोटर को कमरों और बेड का निबंधन पर्यटन विभाग से कराना होगा. निबंधन दो वर्ष के लिए होगा, जिसका हर साल नवीकरण कराना होगा. पहले दो वर्ष के लिए निबंधन शुल्क पांच हजार रुपये लगेगा, जो नन रिफंडेबल होगा. योजना का लाभ उठानेवाले मकान मालिक या प्रमोटरों के लिए चेकलिस्ट तैयार किया गया है. स्थानीय थाना से चरित्र प्रमाण पत्र, मकान के कमरे व बेड के अंदर बाहर का फोटोग्राफ आवेदन के साथ पर्यटन निदेशालय के मुख्य कार्यालय या ऑनलाइन जमा कराना होगा.

सरकार देगी वित्तीय सहायता

इसके तहत कमरे के उन्नयन के लिए वित्तीय सहायता मिलेगी. अनुमानित  राशि को पर्यटन विभाग से अनुमोदित कराना होगा. इसके बाद बैंक से प्राप्त कर्ज की राशि के ब्याज की भरपाई विभाग करेगा. कर्ज की राशि अधिकतम ढाई लाख प्रति कमरे की दर से होगी. इसके तहत निबंधित होने के बाद  नाम, पता, संपर्क नंबर आदि का प्रदर्शन विभागीय वेबसाइट और अन्य पर्यटन साहित्यों में किया जायेगा. होमस्टे-बेड एंड ब्रेकफास्ट का प्रचार सोशल मीडिया से विभिन्न ऑनलाइन प्लेटफार्मों पर भी होगा. मकान मालिक को टूर पैकेज में भी शामिल किया जायेगा और टूर ऑपरेटरों को होमस्टे को आरक्षित करने के लिए प्रेरित किया जायेगा. मकान मालिक को कौशल विकास के तहत प्रशिक्षण भी दिया जायेगा.

मुख्यमंत्री होमस्टे नीति की स्वीकृति

बिहार आनेवाले पर्यटकों को बिहारी संस्कृति, खान-पान और परंपरा से रूबरू होने का मौका मिलेगा.  पर्यटकों को यात्रा के दौरान विश्राम करने के लिए आरामदायक और स्वच्छ बिहारी परिवेश में कमरा उपलब्ध हो सकेगा. बिहार में पर्यटकों के लगातार आगमन को देखते हुए बिहार मंत्रिपरिषद  ने मुख्यमंत्री होमस्टे-बेड एंड ब्रेकफास्ट प्रोत्साहन योजना 2024 की स्वीकृति दी है.
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