BIHAR. बिहार के मेडिकल कॉलेजों में अगस्त से शुरू होनेवाला एमबीबीएस का पहला क्लास हिंदी से आरंभ होगा. बिहार सरकार ने राज्य के सभी सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में इस सत्र से हिंदी में एमबीबीएस की पढ़ायी करने का फैसला लिया है. इसकी विधिवत घोषणा स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने मंगलवार को कर दी. देश में मध्यप्रदेश के बाद बिहार दूसरा ऐसा राज्य बन गया है जहां पर हिंदी में मेडिकल कराने का निर्णय लिया गया है.

स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने इसकी घोषणा करते हुए कहा कि हिंदी माध्यम से मेडिकल पढ़ाने का उद्देश्य है कि लोकली रेलीवेंट एंड ग्लोबली कांपीटेंट डॉक्टर को तैयार करना. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ऐतिहासिक पहल के बाद स्वास्थ्य विभाग ने मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में मेडिकल पाठ्यक्रम हिंदी में कराने का निर्णय लिया है.

स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि हिंदी माध्यम से मेडिकल की पाठ्य पुस्तकें भी उपलब्ध हो गयी है. मेडिकल पढ़ायी का यह प्रभावी माध्यम हैं जिससे विद्यार्थियों को यह विकल्प मिलेगा कि वे चाहें तो हिंदी अथवा अग्रेजी माध्यम से पढ़ायी कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि इस काम को करने के लिए अधिकारियों का उच्चस्तरीय टीम बनायी गयी थी. सभी तरह से इसका अध्ययन कराया गया था. अब यह काम साकार हो गया है और इसी नये सत्र 2024 से राज्य के मेडिकल कॉलेजों में विद्यार्थियों को हिंदी माध्यम से भी पढ़ने का मौका मिलेगा.

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